लोगों की राय

लेखक:

अरविंद मोहन

बिहारी मजदूरों की पीड़ा

अरविन्द मोहन

मूल्य: Rs. 450

देश के सबसे पिछड़े राज्य बिहार और सबसे विकसित राज्य पंजाब के बीच मजदूरों की आवाजाही आज सबसे अधिक ध्यान खींच रही है। यह संख्या लाखों में है। पंजाब की अर्थव्यवस्था, वहाँ के शहरी-ग्रामीण जीवन में बिहार के ‘भैया’ मजदूर अनिवार्य अंग बन गए हैं और बिहार के सबसे पिछड़े इलाकों के जीवन और नए विकास की सुगबुगाहट में पंजाब की कमाई एक आधार बनती जा रही है। यह पुस्तक इसी प्रवृत्ति, इसी बदलाव, इसी प्रभाव के अध्ययन की एक कोशिश है।

  आगे...

महामन्दी की वापसी

अरविंद मोहन

मूल्य: Rs. 300

महामन्दी की वापसी   आगे...

लोकतंत्र का नया लोक (2खंड सेट)

अरविंद मोहन

मूल्य: Rs. 1750

लोकतंत्र का नया लोक (2खंड सेट)   आगे...

 

  View All >>   3 पुस्तकें हैं|